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Satish Kaushik सबको गुदगुदाने वाले Satish पर आया था ग़मों का सैलाब,हो गए थे अकेले

 
Satish Kaushik सबको गुदगुदाने वाले Satish पर आया था ग़मों का सैलाब,हो गए थे अकेले

बॉलीवुड के मशहूर अभिनेता, निर्देशक, पटकथा लेखक और कॉमेडियन सतीश कौशिक का निधन हो गया है। उन्होंने 66 साल की उम्र में अंतिम सांस ली। अभिनेता अनुपम खेर ने उनके निधन की खबर साझा की। सतीश कौशिक के आकस्मिक निधन ने मनोरंजन जगत को झकझोर कर रख दिया है। फैंस भी हैरान हैं। उन्हें आखिरी बार ओटीटी पर रिलीज हुई रकुल प्रीत सिंह की फिल्म 'छत्रीवाली' में देखा गया था। सतीश कौशिक को अक्सर पर्दे पर कॉमेडी रोल में देखा जाता था। अक्सर सबको हंसाने वाले सतीश कौशिक अपने जीवन में एक बड़े दुख से जूझ रहे थे, जिससे उबरने में उन्हें कई साल लग गए।

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13 अप्रैल 1956 को हरियाणा के महेंद्रगढ़ में जन्मे सतीश कौशिक ने अपने निर्देशन और कॉमेडी किरदारों से दर्शकों के दिलों में खास जगह बनाई। सतीश कौशिक ने 1972 में दिल्ली के किरोड़ीमल कॉलेज से स्नातक किया। इसके अलावा वे नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा एंड फिल्म एंड टेलीविजन इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के छात्र भी रहे। बॉलीवुड में करियर शुरू करने से पहले उन्होंने थिएटर में काम किया। वर्ष 1983 में शेखर कपूर की फिल्म 'मासूम' से सहायक निर्देशक के रूप में अपना फिल्मी सफर शुरू करने वाले सतीश कौशिक ने फिल्म 'जाने भी दो यारों' में अभिनय के साथ-साथ सहायक निर्देशक के रूप में काम किया। उन्होंने इस फिल्म के संवाद भी लिखे थे। उन्होंने अपने निर्देशन की शुरुआत फिल्म रूप की रानी चोरों का राजा से की थी। अपनी एक्टिंग से लोगों के चेहरों पर मुस्कान लाने वाले सतीश कौशिक के जीवन में एक ऐसी घटना घटी जिसने अभिनेता को तोड़ दिया।

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1990 के दशक में सतीश कौशिक के बेटे शानू की महज दो साल की उम्र में मौत हो गई थी। बेटे की मौत से उन्हें इतना सदमा लगा कि वे अकेले रहने लगे। इस हादसे से खुद को निकालने के लिए उन्होंने खुद को व्यस्त रखना शुरू कर दिया. इस पहाड़ जैसे दुख से उबरने में उन्हें सालों लग गए। करीब 16 साल बाद साल 2012 में सरोगेसी के जरिए सतीश कौशिक की बेटी वंशिका का जन्म हुआ। बेटी के जन्म पर सतीश कौशिक ने अपनी खुशखबरी शेयर करते हुए कहा, 'हमारी बेटी का जन्म बच्चे के लिए हमारे लंबे और दर्दनाक इंतजार के अंत का प्रतीक है।

Satish Kaushik death: सिनेमा जगत में सतीश कौशिक छोड़ गए अमिट छाप
सतीश कौशिक ने अपने करियर में करीब 100 फिल्मों में काम किया। फैंस उनकी कॉमेडी के कायल थे. फिल्म अभिनेता के तौर पर उन्हें पहचान 1987 में आई फिल्म 'मि. भारत'। इसके बाद उन्होंने 1997 में दीवाना मस्ताना में पप्पू पेजर की भूमिका निभाई। सतीश कौशिक ने 'राम-लखन' और 'साजन चले ससुराल' फिल्मों के लिए दो बार सर्वश्रेष्ठ हास्य अभिनेता का फिल्मफेयर पुरस्कार भी जीता। अभिनेता के आकस्मिक निधन से हर कोई सदमे में है. सतीश कौशिक के परिवार में उनकी पत्नी शशि कौशिक और बेटी वंशिका हैं।

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